आप जिनके करीब
होते हैं,
वह बड़े खुशनसीब होते हैं।
आप हों, मय हो, खल्वत हो,
दिन ये किसको नसीब होते है।
-नूह नारवी
1.मय - शराब, मदिरा 2.खल्वत -
एकान्त
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इलाही कैसी - कैसी
सूरतें तूने बनाई है,
कि हर सूरत कलेजे से लगा लेने के काबिल है।
-अकबर इलाहाबादी
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उनसे नजरें मिला के देखो,
यह जहाँ कितना
खूबसूरत है।
-'बाकी' सिद्दकी
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उनको सोते हुए
देखा था दमे-सुबह कभी,
क्या बताऊं जो इन आंखों ने समां देखा था।
-'अजीज' लखनवी
1. दमे-सुबह - सुबह के वक्त
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