बदल डाला है अब तो अंदाजे - बयां हमने,
बगरना बंद कर दी थी फरिश्तों की जुबाँ हमने।
*****
बात करने तक न आती
थी तुम्हें,
यह हमारे सामने की बात है।
-हफीज जौनपुरी
*****
बीत जाती है एक
पल में कभी,
जिन्दगी की हजार-हा घड़ियां।
एक लम्हें के इन्तिजार मं कभी,
सर्फ होती हैं सैकड़ों सदियाँ।
-जाँनिसार 'अख्तर'
1.हजार-हा - हजारों 2. सर्फ -
व्यय, खर्च, उपभोग, बीतना
*****
भरी दुनिया में कोई भी नजर नहीं आता अपना,
'अदीब' इक दौर ऐसा गुजर जाता है इंसा पर।
-अदीब मालीगाँवी
*****
<< Previous page - 1-2-3-4-5-6-7-8-9-10-11-12-13 Next >>