इसी का नाम है मजबूरी-ए-दिल,
उनके कूचे में,
न जाने की कसम सौ बार खालेना,
मगर जाना।
1.कूचा
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गली
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यह इन्किलाबे - दौरे - जमाना तो देखिए,
मंजिल पै वो मिले जो शरीके-सफर न थे।
1.इन्किलाबे-दौरे-जमाना
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जमाने का बदलाव,
परिवर्तन या उलट-फेर,
समय का उलट-फेर
2.शरीके-सफर
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सफर में शामिल
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