शेर-ओ-शायरी

 बहार  (Bahaar)

वहीं हजारों बहिश्तें भी है खुदाबंदा,
 
सिसक-सिसक के कटी मेरी जिन्दगी जहां।

 1.
बहिश्त - स्वर्ग  2.खुदाबंदा - हे ईश्वर, हे खुदा

 

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